ईमानदारी पर निबंध
ईमानदारी का हमारे जीवन में बहुत महत्व है। ईमानदारी का अर्थ है- किसी से झूठ न बोलना,दूसरों को धोखा न देना,चोरी न करना, किसी का दिल न दुःखाना आदि है। ईमानदार व्यक्ति किसी भी कानून या नियम को नहीं तोड़ता है। अनुशासन में रहना, अच्छे से व्यवहार करना, सच बोलना और दूसरों की ईमानदारी से मदद करना आदि लक्षण ईमानदारी में निहित होते हैं।
ईमानदार होना वास्तविक जीवन में बहुत लाभदायक होता है। ईमानदारी कोई ऐसी वस्तु नहीं है, जिसे खरीदा या बेचा जा सके। यह एक अच्छी आदत है जिसको अभ्यास के माध्यम से ही ग्रहण किया जा सकता है। बिना ईमानदारी के कोई भी व्यक्ति परिवार, समाज, मित्र , अध्यापक आदि के साथ किसी भी स्थिति में रिश्ते को विश्वासनीय नहीं बना सकता। ईमानदार व्यक्ति जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में सफलता प्राप्त करता है। वह जहाँ भी जाता है, उसे देखते ही लोग उसके सामने अपना सिर झुका लेते हैं।
ईमानदारी मनुष्य का सबसे अच्छा मित्र है। ईमानदार व्यक्ति में आत्म-विश्वास होता है। वह निडर होता है। वह असफल होने पर भी साहस नहीं छोड़ता है। ईमानदार व्यक्ति असत्य और बेईमानी से कोसों दूर रहता है। वह जानता है कि दूसरों को पीड़ा पहुँचाना ईमानदारी की राह से भटकना है। वह काम, क्रोध, लोभ तथा मोह - माया के जाल में नहीं फंसता। उसमें छल कपट लेश-मात्र भी नहीं होता। ईमानदार व्यक्ति का समाज में सम्मान किसी करोड़पति से भी अधिक होता है।
सफल एवं सार्थक जीवन के लिए ईमानदारी का होना बहुत आवश्यक है। वहीं राष्ट्र व समाज उन्नति करता है जिस देश के नागरिक अपने कर्तव्य के प्रति ईमानदार हो। ईमानदार व्यक्ति का तो भौतिक शरीर ही नष्ट होता है, उसकी यश ज्योति संसार में बिखरी रहती है। उसके पद् चिन्हों पर युग चलता है। अतः हमें प्रत्येक कार्य ईमानदारी से करना चाहिए।

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